VIDEO: राहुल गांधी हाड़ौती दौरे पर, भारत जोड़ो यात्रा का आज राजस्थान में मंगल प्रवेश

जयपुर: राहुल गांधी आज हाड़ौती दौरे पर है. भारत जोड़ो यात्रा का राजस्थान में आज मंगल प्रवेश होगा. राहुल गांधी की भारत जोड़ो यात्रा का प्रदेश में झालावाड़ पहला पड़ाव होगा. झालावाड़ पिछले 3 दशक से कांग्रेस के सामने चुनौती बना हुआ है. 1989 से 2004 तक वसुंधरा राजे सांसद रहीं. उसके बाद से अब तक उनके पुत्र दुष्यंत सिंह सांसद है. इसमें अतिश्योक्ति नहीं है की झालावाड़ में राजे अभी तक अजेय है. इसके पीछे RSS और जनसंघ का कारण रहा. 60 के दशक में लालकृष्ण आडवाणी यहां प्रचारक रहे. कुछ सालों तक अटल बिहारी वाजपेयी का भी कर्म क्षेत्र रहा. ग्वालियर शासन के करीब होने के कारण विजयाराजे सिंधिया का प्रभाव रहा. राजमाता की सोच ही वसुंधरा राजे को धौलपुर से झालावाड़ लाई. फूलचंद सराफ, नेमीचंद कागला, निर्मल कुमार सकलेचा,गुरुलदास वटवानी, सुधीर काका,अनंग कुमार जैन,चतुर्भुज वर्मा सरीखे नेताओं ने जनसंघ-बीजेपी खड़ी की. यहां कांग्रेस की सियासत पर माधवराव सिंधिया का प्रभाव रहा. जुझार सिंह यहां कांग्रेस से अंतिम सांसद रहे थे.

पिछले दो विधानसभा चुनावों से कांग्रेस का यहां विधायक नहीं है. इस कमजोरी को अपने दौरे में राहुल गांधी करीब से जांचने का काम करेंगे. हाड़ौती की धरती से होगा राजस्थान में यात्रा का आगाज होगा. हाड़ौती की 17 विधानसभा सीटों में से 10 बीजेपी और 7 कांग्रेस के पास है. 2 संसदीय सीटों पर भी "कमल" स्थापित है. गांधी परिवार ने हाड़ौती अंचल के किए कई दौरे किए, लेकिन हमेशा से हाड़ौती को RSS की प्रयोगशाला कहा जाता है. वहीं झालावाड़ को राजे का अभेद्य दुर्ग कहा जाता है. आज पूरे झालावाड़ जिले की एक भी सीट पर कांग्रेस नहीं है. खुद वसुंधरा राजे झालरापाटन से विधायक हैं.उनके पुत्र दुष्यंत सिंह झालावाड़-बारां से सांसद हैं. विधानसभा सीट खानपुर,झालरापाटन,मनोहरथाना और डग से बीजेपी विधायक हैं.

एक दौर में बूंदी जिला कांग्रेस का मजबूत केंद्र था, लेकिन आज बीजेपी ने यहां से जड़ें मजबूत कर ली. पं.जवाहरलाल नेहरू के करीबी ऋषिदत्त मेहता प्रखर स्वाधीनता सेनानी रहे. ऋषिदत्त को टिकट नहीं मिला तब भी नेहरू जी ने चुनाव लड़ाया था. उनके परिवार के ही स्वाधीन मेहता और सत्यभामा ने कांग्रेस के लिए काम किया. पूर्व में बृजसुंदर शर्मा यहां के बड़े नेता रहे और ब्राह्मण पॉलिटिक्स को धार दी. भैरोंप्रकाश माथुर, गोपीदत्त दौराश्री, रंगलाल ने कांग्रेस के लिए मेहनत की. आगे चलकर पूर्व मंत्री हरिमोहन शर्मा ने अपनी पकड़ बनाई. आज रामनारायण मीणा और अशोक चांदना कांग्रेस के बड़े नेता है. चांदना हिंडोली से कांग्रेस विधायक और खेल मंत्री हैं. हालांकि बूंदी और केशोरायपाटन पर कमल खिला हुआ. बूंदी से अशोक डोगरा और केशोरायपाटन से चंद्रकांता मेघवाल विधायक है.