Jaisalmer News: विश्व विख्यात पर्यटन स्थल कुलधरा गांव की धरोहर के साथ छेड़खानी, पालीवाल समाज ने सख्त कार्रवाई की मांग

जैसलमेर : कला संस्कृति और धोरो की धरती जैसलमेर में इन दिनों पर्यटन सीजन के बीच सोशल मीडिया पर एक वीडियो चर्चा का विषय बना हुआ है. स्वर्णनगरी जैसलमेर के विश्व विख्यात पर्यटन स्थल कुलधरा गांव मे पर्यटन सीजन के आगाज के साथ ही भारी संख्या में टूरिस्ट कुलधरा गांव को देखने पहुंच रहे हैं. वहीं कई पर्यटक वहां बने घरों को भी नुकसान पहुंचा रहे हैं. वीडियो के अनुसार जैसलमेर के कुलधरा गांव मे बने पालीवाल ब्राह्मणों के घरों को देखने के साथ साथ वहां वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर अपलोड करने के चक्कर में वहां बने घरों को नुकसान पहुंचा रहे हैं. 

वायरल हो रहे इस वीडियो में कुछ लोग दिखाई दे रहे हैं जो कि कहीं बाहर से जैसलमेर घूमने आए हैं और इस दौरान कुलधरा गांव में बने घरों पर सोशल मीडिया के लिए वीडियो बनाने के लिए कुलधरा गांव मे बने एक प्राचीन व ऐतिहासिक घर की दीवार को लातें मारकर तोड़कर गिरा दिया. वहीं इस वीडियो को बनाने के बाद पर्यटकों ने इस कृत्य के वीडियो को सोशल मीडिया पर भी अपलोड किया. जिसके बाद यह वीडियो खूब वायरल हो रहा है. सरकार द्वारा कुलधरा गांव के संरक्षण के लिए किए जा रहे प्रयासो के बीच इस तरह के वीडियो आना स्वर्णनगरी में चिंता का विषय बना हुआ है. वीडियो वायरल होने के बाद आमजन व विशेषकर पर्यटन व्यवसाय से जुड़े लोग तथा यहां के इतिहासकार इस वीडियो में दिख रहे लोगों के खिलाफ कार्रवाई की मांग कर रहे हैं. 

इस मामले में राजस्थान पालीवाल समाज के उपाध्यक्ष ऋषिदत्त पालीवाल ने इस घटना की निंदा की है. कहा की यह विश्व विख्यात पर्यटन स्थल कुलधरा गांव पुरातत्व विभाग की सम्पति है. इस प्रकार सम्पति को नुकसान पहुँचाने और पुरातत्व संपत्ति को नष्ट करते है इसके खिलाफ कार्रवाई नहीं होती तो आने वाला हर टूरिस्ट ऐसी हरकत करेगा. इसलिए ऐसे लोगों के खिलाफ जिला प्रशासन और पुरातत्व विभाग को सख्त कार्रवाई करनी चाहिए. वही इस मामले में जैसलमेर में मौजूद पुरातत्व सर्वेक्षण विभाग राजस्थान सरकार के कर्मचारी ताराचन्द सेवक ने बताया की वीडियो के मामले में जानकरी मिली है. इसको लेकर उच्चाधिकारी को सूचित कर दिया है. वीडियो की जांच की जा रही है. 

यह है कुलधरा गांव का इतिहास 
कुलधरा गांव पिछले कई सालों से शापित हो रखा है. इस गांव में पिछले कई सालों से कोई बसेरा नहीं हुआ है. गांव के आसपास के लोगों का कहना है कि यहां पर अक्सर कई भूतिया घटनाएं होती हैं. इस कारण यहां पर कोई भूल कर भी जाने की कोशिश नहीं करता. आज ये पूरी जगह बंजर और वीरान हो चुकी है. जर्जर हालातों में पड़े यहां के खंडहर आज भी उस घटना की गवाही देते हुए दिखते हैं, जिसने इस सुंदर गांव को एक वीराने में तब्दील कर दिया. कुलधरा गांव आज जिस हालात में है वैसे पहले कभी नहीं था. ये गांव पहले काफी सुंदर हुआ करता था.

इस वजह से रातों रात गांव छोड़कर चले गए लोग
माना जाता है कि उस दौरान यहां का प्रधानमंत्री सालिम सिंह थे. जिनकी बुरी नजर इस गांव के मुखिया की बेटी पर पड़ गई जो बहुत खूबसूरत थी. वो उस लड़की से जबरन शादी करना चाहते थे. उन्होंने गांव वालों से साफ कह दिया था कि अगर कोई उस लड़की को बचाने के लिए बीच में आया या उसे छुपाने की कोशिश की तो उन सबकी जान ले ली जाएगी. बस इसी डर से उस गांव और आसपास के 85 गांवों ने एक सभा बुलाई और एक रात अचानक यहां से चले गए. अब जब गांव खाली हो रहा था, तो जाहिर है कि सभी अपना बोरिया बिस्तर लेकर यहां से चले गए होंगे. वो सभी अपने सामान, रोजमर्रा की चीजें, यहां तक कि खाने पीने की चीजें भी वहीं छोड़कर आनन फानन में गांव से रवाना हो गए.

गांव में जाने से डरते हैं लोग
गांव छोड़ते वक्त उन्होंने इस जगह को श्राप दिया कि ये गांव कभी दोबारा नहीं बस पाएगा और कोई दूसरा व्यक्ति वहां नहीं रह पाएगा. इसके बाद से आज तक इस गांव में कोई नहीं रह पाया. यह गांव दशकों से खंडहर ही बना हुआ है. यहां दिन हो या रात जाने पर एक अजीब सी बेचैनी और डर महसूस होने का लोगों ने दावा किया है. कुछ लोगों का ये भी मानना है कि सालिमसिंह ने गांव पर टैक्स इतना ज्यादा लगा दिया था कि लोग उसे चुका नहीं पाते थे और दूसरी जगह चले गए. अब इस गांव का रख-रखाव आर्कियोलॉजिकल सर्वे और इंडिया द्वारा किया जाता है.